अगस्टावेस्टलैण्ड घोटाला

 🔥"6 महीने के अंदर बड़ा राजनीतिक भूचाल आएगा":- चुनाव के दौरान प्रधानमंत्री मोदी जी ने कहा।


🔥"मैं कभी इतना खुश नहीं हुआ":- इटली में जी7 मीटिंग के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने कहा।


रिश्ता?


"मेलोडी" इफेक्ट जानते हैं!


क्या आपको फरवरी 2013 में इटली में उजागर हुआ रिश्वत कांड याद है जिसने भारत में भी राजनीतिक भूचाल ला दिया था?


नहीं? चलो....अगस्तावेस्टलैंड घोटाला!


हाँ! हाई-एंड वीवीआईपी चॉपर जो यूपीए को खरीदने थे क्योंकि राजमाता नियमित चॉपर में यात्रा करने से ऊब गई थी।


यह वापस आ गया है!


फरवरी 2013 में इटली में अंतरराष्ट्रीय रिश्वतखोरी का भंडाफोड़ हुआ, जिसके परिणामस्वरूप ब्रूनो स्पैग्नोलिनी (अगस्ता वेस्टलैंड के सीईओ), गुइसेपे ओरसी (अगस्ता की इतालवी मूल कंपनी फिनमेकेनिका के अध्यक्ष) और 2 बिचौलियों गुइडो हैशके और कार्लो गेरोसा को गिरफ्तार किया गया। इन सभी को IAF के साथ हेलिकॉप्टर डील हासिल करने के लिए अंतरराष्ट्रीय भ्रष्टाचार, रिश्वतखोरी और मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों में मिलान कोर्ट ने दोषी ठहराया। यह बिना किसी संदेह के साबित हुआ कि भारत के प्रमुख राजनेताओं और बिचौलियों ने इस घोटाले में 600+ करोड़ रुपये की रिश्वत ली थी। अब सामान्य न्यायिक प्रक्रिया क्या है?

एक बार फैसला सुनाए जाने के बाद, फैसले, बयानों और फैसले के सभी विवरण सार्वजनिक किए जाते हैं। है न?

लेकिन इस मामले में, इतालवी सरकार द्वारा कोई भी विवरण सार्वजनिक नहीं किया गया। क्या मुझे यह बताने की ज़रूरत है कि क्यों? जाहिर है...भारत में UPA सरकार के दबाव में!

आरोपियों के पूरे बयान, अपील का पूरा पाठ और अदालत का अंतिम फैसला गोपनीय था, जो भारत के राजनीतिक और नौकरशाही प्रतिष्ठान में भूचाल ला सकता था....राजमाता और युवराज को सीधे कटघरे में खड़ा कर सकता था। इन गोपनीय दस्तावेजों से पैसों के लेन-देन का पूरा विवरण और रिश्वत के लाभार्थियों के नाम सामने आ सकते थे। भारत में भी सीबीआई और ईडी ने मामला दर्ज किया और जांच की। 2018 में भारत ने हेलिकॉप्टर डील में बिचौलिए क्रिश्चियन मिशेल को दुबई से उसके साथी राजीव सक्सेना के साथ प्रत्यर्पित किया। सीबीआई ने घोटाले में पूर्व एयर चीफ मार्शल एसपी त्यागी और उनके चचेरे भाई संजीव त्यागी को भी गिरफ्तार किया। लेकिन मिशेल नाम लेने से इनकार कर रहा था और इटली में दस्तावेजों में छिपे "पुख्ता सबूत" के बिना मामला आगे नहीं बढ़ सकता था। एक गतिरोध! लेकिन अब और नहीं! सूत्रों के अनुसार, इटली ने अगस्तवेस्टलैंड रिश्वत घोटाले के बारे में अपने न्यायालय के विस्तृत निर्णय (225 पृष्ठ) और संबंधित दस्तावेजों (पुख्ता सबूत) को साझा किया है, जो अब भारत में उच्च प्रोफ़ाइल राजनेताओं और बिचौलियों को पकड़ सकता है। इतालवी न्यायालय के फैसले से क्या उजागर होता है?

🔥एक पूर्व प्रधानमंत्री की भूमिका

🔥भारत के एक प्रमुख राजनीतिक परिवार की भूमिका

🔥रिश्वत घोटाले का पूरा विवरण, जिसमें साक्ष्य के रूप में हाथ से लिखे नोट भी शामिल हैं

🔥ओरसी और अन्य लोगों का कबूलनामा कि उन्होंने भारतीय राजनेताओं को कैसे रिश्वत दी।

🔥भारत में एक प्रमुख राजनीतिक दल के महासचिव के खिलाफ सबूत

🔥भारत के तत्कालीन एनएसए के खिलाफ सबूत

🔥भारत के एक बड़े राजनेता और एक राजनीतिक परिवार के मुखिया का नाम इतालवी अदालत के फैसले के पृष्ठ 193 और 204 पर 4 बार और 2-2 बार उल्लेख किया गया है।

सीबीआई और ईडी द्वारा जांच के दौरान क्रिस्टियन मिशेल की डायरी बरामद की गई थी, जिसमें "एपी" और "एफएएम" कोडनेम थे, जो अहमद पटेल और भारत के शाही परिवार की ओर इशारा करते थे। लेकिन इस तरह की व्याख्याएं कानून की अदालत में टिक नहीं सकतीं। तो क्या इतालवी अदालत में दर्ज सबूत कसौटी पर खरे उतरेंगे? हाँ! वे 100% टिकेंगे!

दस्तावेजों के अनुसार, अगस्ता वेस्टलैंड द्वारा नियुक्त दोषी बिचौलियों में से एक गुइडो हैशके ने भारत के बड़े राजनेताओं, पदाधिकारियों और नौकरशाहों की पहचान की है, जिन्हें रिश्वत मिली थी, जब उनकी तस्वीरें इटली में अभियोजकों द्वारा उन्हें दिखाई गईं। तो अब कोई व्याख्या नहीं... बल्कि फोटो पहचान के साथ ठोस सबूत चाहिए।


कांग्रेस के नेतृत्व वाली यूपीए के वीवीआईपी हेलिकॉप्टर घोटाले में जांच और अभियोजन अब वास्तविक गति पकड़ेंगे। ईडी ने पहले ही मनी ट्रेल की स्थापना कर ली थी, लेकिन ठोस सबूतों की जरूरत थी।


अब यह हो गया है🔥 राजमाता के लिए पर्दा हमेशा के लिए गिरने वाला है!


मुझे लगता है, वह भी यह जानती है और यही कारण है कि सुप्रिया श्रीनेत पूछ रही थीं "मोदी इटली में क्यों हैं?"


6 महीने....राजनीतिक भूकंप! तैयार रहें!


बोला था....मोदी 3.0 🔥 होने जा रहा है।

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